देश की सबसे पुरानी राजनैतिक पार्टी कांग्रेस की मुश्किलें कम होने का नाम ही नहीं ले रही हैं. 2019 लोकसभा चुनाव के बाद मिली हार के बाद से अबतक कांग्रेस में उथल-पुथल जारी है. इसी का नतीजा हुआ कि मध्यप्रदेश जैसे राज्य में कांग्रेस पार्टी की सरकार गिर गई.
राजस्थान कांग्रेस में भी सबकुछ ठीक नहीं चल रहा है. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और सचिन पायलट के बीच मनमुटाव किसी से छुपा नहीं है. एक समय राजस्थान के भी हालात मध्यप्रदेश जैसे हो गए थे मगर पायलट ने अपने तेवर नरम कर लिए और मामला थम गया.
अब एक बार फिर राजस्थान का सियासी पारा चढ़ने लगा है. आज आठ विधायक सचिन पायलट से मिलने पहुंचे और उन्होंने कहा कि हम सब सचिन पायलट के साथ हैं.
उन्होंने कहा कि हम कांग्रेस में हैं और वहीं रहकर अपनी आवाज उठाएंगे. विधायकों ने कहा कि कांग्रेस आलाकमान ने जो वादे किए थे उसे पूरा किया जाना चाहिए.
उन्होंने कहा कि जिस तरह नवजोत सिंह सिद्धू की बात सुनी गई है उसी तरह सचिन पायलट की भी बात सुनी जानी चाहिए. बता दें कि राजस्थान में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और सचिन पायलट के बीच लंबे समय से मतभेद चल रहे हैं. सचिन पायलट के समर्थन उन्हें मुख्यमंत्री बनाने की मांग कर रहे हैं.
अब देखना ये है कि कांग्रेस आलाकमान राजस्थान में चल रहे इस विवाद का कैसे निपटाता है. क्या पायलट मान जाएंगे या फिर सिंधिया और जितिन प्रसाद की तरह वो भी बीजेपी में जाएंगे.