आज भारत के राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की 150वीं जयंती मनाई गई. इस मौके पर देशभर के अलग अलग हिस्सों में कार्यक्रमों का आयोजन किया गया. देश के तमाम नेताओं ने राजघाट जाकर उनकी समाधि पर पुष्प अर्पित किए. तमाम शहरों में गांधी जी की प्रतिमा पर फूल माला डालकर विभिन्न कार्यक्रम आयोजित किए गए.

समाजवादी पार्टी की ओर से आज राजधानी लखनऊ सहित प्रदेश के सभी जिला मुख्यालयों पर राष्ट्रपिता महात्मा गांधी जी की 150वीं जयंती मनाई गई और पूर्व प्रधानमंत्री श्री लालबहादुर शास्त्री को भी श्रद्धासुमन अर्पित किए गए.

समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष  अखिलेश यादव ने जीपीओ पार्क, हजरतगंज, लखनऊ स्थित महात्मा गांधी जी की प्रतिमा पर माल्यार्पण किया. इस अवसर पर बापू के प्रिय भजन-वैष्णव जन तो तेने कहिए, रघुपति राघव राजाराम, सारे जहां से अच्छा हिन्दोस्तां, वंदेमातरम के अलावा जन-गण-मन अधिनायक का भी गायन हुआ.

अखिलेश यादव ने गांधी आश्रम, हजरतगंज में गांधी जी और शास्त्री जी के चित्रों पर माल्यार्पण किया. अखिलेश ने चर्खे पर सूत भी काटा. उन्होंने कहा कि गांधी जी ने सभी जातियों और सम्प्रदायों से भावनात्मक रिश्ते जोड़े थे, अन्याय के विरूद्ध दक्षिण अफ्रीका से लेकर भारत तक में उन्होंने आंदोलनों का नेतृत्व किया. उन्होंने कहा आज जब दुनिया गांधी जी की ओर देख रही है, भारत में गांधी जी के विचारों का पालन नहीं किया जाता है.

समाजवादी मुख्यालय, लखनऊ में भी आयोजित कार्यक्रम में अखिलेश यादव ने गांधी जी और लाल बहादुर शास्त्री जी के चित्रों पर माल्यार्पण के पश्चात् गांधी जी के जीवन पर बनी एक फिल्म भी देखी. मुलायम सिंह यादव ने भी गांधी जी और शास्त्री जी के चित्र पर पुष्पांजलि अर्पित की.

इस अवसर पर विधानसभा सदस्यों, विधानपरिषद सदस्यों, पार्टी पदाधिकारियों तथा कार्यकर्ताओं को सम्बोधित करते हुए अखिलेश यादव ने राष्ट्रपिता महात्मा गांधी जी के जीवन दर्शन से प्रेरणा लेकर उनके द्वारा बताये गए सत्य-अहिंसा के रास्ते पर चलने का संकल्प लेने को कहा. उन्होंने कहा कि इसी रास्ते में देश की दशा सुधारी जा सकती है.

उन्होंने कहा कि दुनिया में भारत के नेताओं में सबसे ज्यादा सम्मान गांधी जी का है. भारत में स्वतंत्रता आंदोलन को उनका नेतृत्व मिला, आजादी मिली. उनको आज दुनिया भर में याद किया जा रहा हैं. उन्होंने हमें सत्य-अहिंसा का रास्ता दिखाया.

अखिलेश यादव ने कहा कि जिस लोकतंत्र में हम जी रहे हैं उस पर खतरा पैदा हो गया है. भाजपा को गांधी जी के सिद्धांतों पर चलना ही नहीं है. वे डाॅ0 लोहिया और गांधी जी के रास्ते पर नहीं चलते. भाजपाई खादी नहीं पहनते हैं. ऊपर का कूड़ा दिखता है लेकिन असली कूड़ा तो मन में है.

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