समाजवादी सरकार में बनी आवासीय योजना के मकानों को कम दामों में बेचा जाएगा. भारी मात्रा में खाली पड़े मकानों के दाम घटाकर उन्हें बेचने के निर्देश अधिकारीयों को दिए गए हैं. सचिव दीपक कुमार के मुताबिक प्राधिकरण की आय बढ़ाने के लिए समाजवादी आवास योजना में जो मकान बन कर खाली पड़े हैं, उनकी कीमत घटाकर उन्हें बेचा जाएगा.

आवास विभाग का कहना है कि इससे मकान भी बिक जाएंगे और विकास प्राधिकरण का फंसा पैसा भी निकल आयेगा. विभाग इसके लिए नए सिरे से आवेदन निकालेगा.

समाजवादी पार्टी ने अपनी सरकार के दौरान विकास प्राधिकरणों को पूरे राज्य में तीन लाख मकान बनाने का लक्ष्य दिया था. समाजवादी आवास योजना की शुरुआत 2016 में हुई थी. इस योजना के तहत 15 से 30 लाख रूपये के बीच मकान बनाए जा रहे थे. अब ये योजना अब बंद हो चुकी है.

गाजियाबाद में सबसे ज्यादा 1000 ऐसे मकान है. इसके अलावा लखनऊ, कानपुर, आगरा, मेरठ जैसे शहरों में समाजवादी आवास योजना के मकान बने हुए हैं. इनके दाम घटाने की तैयारी है. दीपक कुमार ने बताया कि इस योजना में करीब 10 हजार मकानों को कीमत घटा कर बेचा जाएगा. मकानों की कीमतों में दो से तीन लाख रूपये का अंतर होने की संभावना है.

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