भारतीय जनता पार्टी की वरिष्ठ नेता और पूर्व केन्द्रीय मंत्री उमा भारती का हाथरस मामले को लेकर बड़ा बयान आया है. उन्होंने कहा कि जिस तरह पुलिस ने गांव व पीड़ित परिवार की घेराबंदी की है, इससे कई तरह की आशंकाएं जन्म लेती हैं. उन्होंने कहा कि वह कोरोना से ठीक होने के बाद हाथरस आएंगी.

शुक्रवार को उमा भारती ने कई ट्वीट किए. उन्होंने लिखा कि आदरणीय योगी आदित्यनाथ जी आपको जानकारी होगी ही की मैं कोरोना पॉजिटिव पाए जाने के बाद एम्स ऋषिकेश के कोरोना वार्ड में भर्ती हूं. आज मेरा 7वां दिन है, इसलिए मैं अयोध्या मामले पर विशेष सीबीआई अदालत में पेश भी नहीं हो पाई. मैं किसी से मिल नहीं सकती, फोन नहीं कर सकती लेकिन टीवी है, जिससे की समाचार मिलते हैं.

उन्होंने आगे कहा कि मैंने हाथरस की घटना के बारे में देखा. पहले तो मुझे लगा कि मैं न बोलूं क्योंकि आप इस संबंध में ठीक ही कार्यवाही कर रहे होंगे. किन्तु जिस प्रकार से पुलिस ने गांव की एवं पीड़ित परिवार की घेराबंदी की है, उसके कितने भी तर्क हों लेकिन इससे विभिन्न आशंकाएं जन्मती हैं.

वह एक दलित परिवार की बिटिया थी. बड़ी जल्दबाजी में पुलिस ने उसकी अंत्योष्टि की और अब परिवार एवं गांव की पुलिस के द्वारा घेराबंदी कर दी गयी है. मेरी जानकारी में ऐसा कोई नियम नहीं है कि एसआईटी जांच में परिवार किसी से मिल भी न पाए. इससे तो एसआईटी की जांच ही संदेह के दायरे में आ जाएगी.

उन्होंने आगे लिखा कि हमने अभी राम मंदिर का शिलान्यास किया है और आगे देश में रामराज्य लाने का दावा किया है, किन्तु इस घटना पर पुलिस की संदेहपूर्ण कार्यवाही से आपकी, यूपी सरकार और बीजेपी की छवि पर आंच आई है. आप एक बहुत ही साफ़ सुथरी छवि के शासक हैं. मेरा आपसे अनुरोध है कि आप मीडियाकर्मियों एवं अन्य राजनीतिक दलों के लोगों को पीड़ित परिवार से मिलने दीजिए.

उमा भारती ने कहा कि मैं कोरोना वार्ड में बहुत बेचैन हूं. अगर मैं कोरोना पॉजिटिव न होती तो मैं भी उस गांव में उस परिवार के साथ बैठी होती. एम्स ऋषिकेश से छुट्टी होने पर मैं हाथरस में उस पीड़ित परिवार से जुरूर मिलूंगी. आगे लिखा कि मैं बीजेपी में आपसे वरिष्ठ एवं आपकी बड़ी बहन हूं. मेरा आग्रह है कि आप मेरे सुझाव को अमान्य मत करिएगा.

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