उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव को लेकर सभी दलों में सरगर्मियां तेज हो गई हैं. समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव इन दिनों काफी सक्रियता दिखा रहे हैं फिर चाहे वो समाजवादी विजय यात्रा हो या यूपी के विभिन्न जिलों में हो रहे मंडल सम्मेलन. इन सभाओं में उमड़ रही भीड़ कहीं ना कहीं इस बात का संकेत दे रही है कि आने वाला समय बदलाव का है. ऐसे में लग रहा है कि साल 2022 के चुनाव में समाजवादी पार्टी एक बार फिर से सरकार बनाने की ओर बढ़ रही है.
वहीं कांग्रेस के लिए प्रियंका गांधी मैदन में है. गौरतलब है कि 2017 का चुनाव सपा और कांग्रेस ने मिलकर लड़ा था लेकिन इसका कोई फायदा नहीं हुआ था. साल 2014 के चुनाव से पहले मुलायम सिंह यादव से कांग्रेस के साछथ गठबंधन पर जब सवाल पूछा गया था तो उन्होंने साफ कर दिया था कि समाजवादी पार्टी, कांग्रेस के साथ मिलकर चुनाव नहीं लड़ेगी.
वरिष्ठ पत्रकार प्रभु चावला ने मुलायम सिंह यादव से पूछा था आप कांग्रेस के साथ मिलकर नहीं लडेंगे ये तो साफ हो गया. लेकिन लोग कई बार कहते हैं कि आपके तेवर कभी नरम तो कभी गरम होते हैं और आप सौदेबाजी अंदर से करते हैं उन्होंने इसके जवाब में कहा थि हम पहले ही साफ कर चुके हैं कि हमारा कोई सवाल ही नहीं है कि हम कांग्रेस के साथ मिलकर चुनाव लडें. अब इसमें सौदेबाजी जैसी कोई बात ही नहीं है या तो हम कोई अपनी पार्टी का भला तलाश रहे होते.
मुलायम सिंह यादव इस दौरान कहते हैं कि जहां तक हमारे केंद्र में आने की बात है तो चुनाव के बाद तय हो जाएगा कि हमें क्या मिलता है. अब तो ये चुनाव के बाद फैसला किया जाएगा कि हमें कांग्रेस के साथ आगे भी रहना है या अकेले ही आगे की राह को तय करना है. हमारे खिलाफ हर चीज को लेकर मुद्दा बनाया जाता है. हमने कभी जीवन में आडवाणी जी और बीजेपी का समर्थन नहीं किया. उन्होंने एक बार हमसे कहा कि यूपी में कानून व्यवस्था खराब है तो इस ओर हमने ध्यान दिया और अपने कार्यकर्ताओं को निर्देश दिया कि इसे जल्दी ही ठीक किया जाए.