समाजवादी पार्टी व्यपार सभा की पहली डिजिटल बैठक आज संपन्न हो गई. इस बैठक में व्यापारियों को हो रही समस्याओं के साथ ही सरकार की नीतियों को लेकर भी गहन चर्चा हुई. सभी ने एक सुर में कहा कि भाजपा सरकार में काम धंधे चौपट हो गए हैं, 5 ट्रिलियन का सपना दिखाकर व्यापारियों को 5-5 रूपये के लिए मोहताज बना दिया गया है.

व्यापार सभा की बैठक में सभी ने ये माना कि व्यापारियों, उद्यमियों, दुकानदारों को बढ़ते अपराध, इंस्पेक्टर राज, विभागीय उत्पीड़न, पुलिस उत्पीड़न, नकदी की समस्या, बैंकों की बेरुखी, लॉकडाउन में सरकार द्वारा कोई मदद न मिलना, मंदी, बिक्री न होने की समस्या सबसे ज़्यादा परेशान कर रही है.

2022 में पुनः समाजवादी पार्टी की सरकार बने और व्यापारियों, दुकानदारों व उद्यमियों के बीच भाजपा की व्यापारी विरोधी सोच का पर्दाफाश करने पर अभियान चलाने का प्रस्ताव हर जिले में दिया गया.

सपा व्यापार सभा के प्रदेश अध्यक्ष और सहारनपुर से विधायक संजय गर्ग ने कहा कि भाजपा की सरकार नफरत की राजनीति में उलझाना चाहती है जबकि व्यापारी विकास और व्यापार लायक माहौल चाहता है. उन्होंने कहा कि सपा व्यापार सभा प्रदेश के हर लोकल बाजार में अपना प्रतिनिधि बनाएगी ताकि बाज़ार के व्यापारियों का उत्पीड़न रोका जा सके व व्यापारियों के दुखदर्द को साझा किया जा सके.

संजय गर्ग ने कहा कि 18 मण्डलों के व्यापारियों से मिलकर उनकी क्षेत्रीय समस्याओं को जानकर उठाया जाएगा, गैर राजनीतिक व्यापार मंडलों से संवाद स्थापित कर उनकी समस्याओं को भी उठाया जाएगा. जिलों की सपा व्यापार सभा की इकाइयों सड़क पर संघर्ष करती दिखेंगी.

प्रदेश उपाध्यक्ष व पूर्व मंत्री अजय सूद ने कहा कि सरकार ने व्यापारियों को एक रुपये की भी सीधी मदद नहीं की, उल्टा मोराटोरियम तक पर ब्याज वसूला. उन्होंने कहा कि जो दुकानदार पहले 5 कर्मचारी रखता था वो अब 2 रखने की स्थिती में भी नहीं है, स्थिती अभी और खराब होने के आसार नजर आ रहे हैं.

प्रदेश उपाध्यक्ष राजीव सिंघल ने कहा कि मुरादाबाद, अलीगढ़ व मेरठ मण्डल के व्यापारी आज नकदी से लेकर बिक्री के लिए रो रहे हैं. प्रदेश उपाध्यक्ष व पूर्व राज्य वित्तीय सलाहकार प्रदीप जायसवाल ने कहा कि वाराणसी, मिर्जापुर, प्रयागराज मण्डल का व्यापारी कहने को तो वीआईपी क्षेत्र में है मगर वो अपने अस्तित्व के लिए परेशान है. उन्होंने कहा कि वाराणसी में बुनकर से लेकर छोटे दुकानदार, उद्यमी परेशान हैं, सुनने वाला कोई नहीं है, इधर कोरोना में इलाज के नाम पर छोटे व मध्यमवर्गीय व्यापारियों व दुकानदारों की जमापूंजी भी स्वाहा हो गई है.

प्रदेश महासचिव अभिमन्यु गुप्ता ने कहा कि कानपुर और आसपास के जिलों में व्यापारी अपराध व विभागीय उत्पीड़न की वजह से व्यापार बंद करके पलायन को मजबूर हो रहा है. 5 ट्रिलियन की अर्थव्यवस्था बनाने का वायदा तो कर दिया पर अब व्यापारी 5-5 रुपये के लिए मोहताज है.

उन्होंने कहा कि भाजपा राज में व्यापारी सबसे ज़्यादा परेशान है और अब समाजवादी पार्टी को वोट देने का मन बना चुका है. बैठक में निर्णय लिया गया कि जल्द सपा प्रमुख अखिलेश यादव से मुलाकात कर व्यापारियों के लिए मैनिफेस्टो तैयार करवाया जाएगा जिसके तहत व्यापारियों के लिए बड़ी घोषणाएं की जाएंगी.

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