उत्तर प्रदेश में पंचायत चुनाव को लेकर तैयारियां तेजी से चल रही हैं. प्रशासनिक स्तर पर भी तैयारी शुरू हो चुकी है. अब लोगों को इंतजार चुनाव की तारीखों का है. बताया जा रहा है कि ग्राम पंचायत सदस्य, ग्राम प्रधान, क्षेत्र पंचायत सदस्य और जिला पंचायत सदस्य के चार पदों पर मतदान एक साथ होगा.
सरकारी सूत्रों के मुताबिक उत्तर प्रदेश में पंचायत चुनाव अगले साल अप्रैल व मई महीने में करवाने के आसार बन रहे हैं. बताया जा रहा है कि प्रत्येक जिले के विकास खंड चार हिस्सों में बांटे जाएंगे. फिलहाल आयोग वोटर लिस्ट पुनरीक्षण के काम निर्धारित समय सारिणी के अनुसार निपटाने में जुटा हुआ है.
यह काम 15 नवंबर तक चलेगा. इसके बाद संकलित डेटा को फीड किया जाएगा. 28 दिसंबर को मतदाता सूची का फाइनल ड्राफ्ट प्रकाशित किया जाएगा. उधर पंचायतीराज विभाग ने अभी तक शहरी क्षेत्र में पूरी या आंशिक रूप से शामिल की जा चुकीं पंचायतों के ब्योरे इकठ्ठा किया है.
आंशिक परिसीमन के समय से पूरा न होने की वजह से ही चुनाव पिछड़ रहा है. आंशिक परिसीमन के बाद ही वार्डों का नए सिरे से निर्धारण होगा और फिर आरक्षण तय किया जाएगा. इसमें करीब दो महीने का समय लगेगा. ऐसे में दिसम्बर व जनवरी वोटर लिस्ट, परिसीमन व आरक्षण निर्धारण में लग जाएंगे.
इसके बाद अगर चार चरणों में मतदान हो तो दो महीने लगेंगे. मार्च वित्तीय वर्ष का आखिरी महीने है और गेंहू की कटाई, वार्षिक परीक्षाओं की वजह से मार्च को पंचायत के लिए मुफीद नहीं माना जा रहा है. इस वजह से चुनाव अप्रैल और मई महीनों में कराए जाने के आसार हैं.