अलीगढ़ थाना देहली गेट क्षेत्र के जंगलगढ़ी बाईपास स्थित झलकारीनगर के 26 साल के कासिम खान पुत्र अनवार ने इस्लाम धर्म को छोड़कर हिंदू धर्म को अपना लिया. उनके बेटे और बेटी का नामकरण भी हिंदू धर्म के अनुसार कर दिया गया है. आर्य समाज मंदिर में रविवार को उनका शुद्धिकरण किया गया. कासिम से कर्मवीर बने व्यक्ति ने कहा कि ये उनकी घरवापसी है. उनके पूर्वज हिंदू थे.
हालांकि उस समय वो कट्टरपंथियों के ड़र से अपने आपको असुरक्षित महसूस कर रहे थे. झलकारीनगर निवासी कासिम ने विगत 8 साल पहले साल 2012 में अनीता नामक लड़की के साथ प्रेम विवाह किया था. बाद में कोर्ट मैरिज भी की थी विवाह के बाद ही दोनों अपने माता-पिता से अलग हो गए. उनकी बेटी इस समय सात साल की है तो बेटा 4 साल का है.
कासिम की पत्नी हिंदू धर्म की रीतिरिवाजों को मानती है और घर में पूजा पाठ करती है. कासिम कहते हैं कि शादी के बाद अनीता के ही माध्यम से ही उनको हिंदू धर्म के बारे में जानकारी प्राप्त हुई. उसके बाद ही उन्होंने इस्लाम धर्म को त्यागकर हिंदू धर्म अपनाने का निर्णय लिया.
ये उनके अंतरात्मा की आवाज है. सामाजिक कार्यकर्ता नीरज भारद्वाज से संपर्क कर हिंदू धर्म अपनाने की इच्छा जाहिर की. युवक का कहना है कि जब उसने अनीता से शादी की थी उस दौरान भी उसने निकाह के स्थान पर फेरे ही लिए थे. उन्होंने भारद्वाज के माध्यम से सासनीगेट स्थित आर्यसमाज मंदिर में घरवापसी के लिए आग्रह किया. रविवार को वे शामिल हो गए.