नए कृषि कानून के खिलाफ पंजाब हरियाणा के किसान आंदोलन कर रहे हैं. किसानों की मांग है कि इन कानूनों को पूरी तरह रद्द किया जाए. जबकि सरकार ऐसा करने के मूड में नहीं है और संसोधन की बात कह रही है. इस बीच कृषि राज्य मंत्री कैलाश चौधरी ने किसानों से सरकार से बातचीत करने की अपील की है.

कैलाश चौधरी ने कहा कि मैं किसानों से अपील करता हूं कि सरकार के साथ बैठें और किसान बिल संबंधित कानूनों से सम्बंधित मुद्दे को हल करें.

इसके साथ ही राज्य मंत्री ने कहा कि अगर किसान बिल में कुछ जोड़ना चाहते हैं तो इसकी संभावना अधिक है, लेकिन यह पूर्ण ‘हां या नहीं’ नहीं हो सकता है. एक साथ बैठने से समाधान होता है.

वहीं किसान नेताओं ने कृषि कानून के खिलाफ सोमवार को एक दिवसीय भूख हड़ताल रखी है. रविवार को दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल ने भी आम आदमी पार्टी के कार्यकर्ताओं और लोगों से उपवास रखने की अपील की थी.

रविवार को किसानों के एक बड़े समूह ने हरियाणा-राजस्थान सीमा पर पुलिस द्वारा रोके जाने पर दिल्ली-जयपुर राष्ट्रीय राजमार्ग अवरुद्ध कर दिया था.

भारतीय किसान यूनियन एकता के महासचिव सुखदेव सिंह ने अनशन के फैसले से खुद को अलग कर लिया था. उन्होंने कहा कि वह भूख हड़ताल नहीं करेंगे. साथ ही उन्होंने पिछले सप्ताह एक कार्यक्रम के आयोजन में गिरफ्तार किए गए कार्यकर्ताओं को छोड़ने मांग की थी.

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